पंतनगर। ठेका मजदूर कल्याण समिति पंतनगर द्वारा मुख्यमंत्री उत्तराखंड शासन को ज्ञापन भेजकर पंतनगर में कार्यरत ठेका मजदूरों को श्रम नियमों द्वारा देय मूलभूत सुविधाएं और नियमितीकरण किए जाने की मांग की गई।जिसकी प्रतिलिपि कुलपति जी विश्व विद्यालय पंतनगर को भी भेजी गई है।
पत्र में कहा गया है कि उत्तराखंड शासन द्वारा विश्व विद्यालय की बजट कटौती की रही है ।जिसकी वजह से ठेका मजदूरों को पूरे माह काम नहीं दिया जा रहा है। छुट्टी में काम तो करा लिया जाता है। पर माह में कम कार्य दिवसों का ही वेतन भुगतान किया जाता है।
लगातार 10 वर्ष की सेवा कर चुके दैनिक वेतन भोगी मजदूरों नियमितीकरण किया जा रहा है परन्तु ठेका मजदूरों को नियमित नहीं किया जा रहा है।न ही ठेका मजदूरों को श्रम नियमों द्वारा देय बोनस ग्रेच्युटी सवैतानिक अवकाश दिया जाता है भेदभाव किया जा रहा है। इसी को लेकर निम्न मांगें की गई है —
1- उत्तराखंड शासन द्वारा विश्व विद्यालय की बजट कटौती बंद कर पूर्व की भांति समुचित बजट आवंटित किया जाए।
2- बजट अभाव का बहाना बना कर ठेका मजदूरों की निकाला बैठाली बंद कर पूरे माह काम देकर माह में 26- 27 कार्य दिवसों का वेतन भुगतान किया जाए।
3- माननीय उच्चतम न्यायालय के निर्देशानुसार समान काम समान वेतन भुगतान किया जाए।
4- नियमानुसार ठेका मजदूरों को हर माह की 07 तारीख को वेतन भुगतान किया जाए।
5- विश्व विद्यालय के अन्य कर्मियों की भांति ठेका मजदूरों को बोनस, ग्रेच्युटी, वर्ष में 20 दिनों का सवैतानिक अवकाश दिया जाए।
6- माननीय उच्च न्यायालय नैनीताल के निर्देशानुसार विश्व विद्यालय में वर्ष 2003 से पूर्व से लगातार कार्यरत दैनिक वेतन भोगी मजदूरों को नियमित किया जाए।
7- उत्तराखंड शासन की अधिसूचना वर्ष 2011एवं वर्ष 2013 की नियमावली के तहत विश्व विद्यालय में 15/20 वर्षों से लगातार कार्यरत मजदूरों को नियमितीकरण किया जाए।
8- उत्तराखंड शासन के शासनादेश के अनुसार ठेका मजदूरों को उपनल के कर्मियों के समान मजदूरी का भुगतान किया जाए।
9 -15 वें अंतराष्ट्रीय श्रम सम्मेलन के मानकों के हिसाब से दैनिक वेतन भोगी/ ठेका मजदूरों को न्यूनतम 25000/- मासिक वेतन घोषित किया जाए।
10– विश्व विद्यालय पंतनगर में ई. एस. आईं. डिस्पेंसरी लेखा सेल स्थापित किया जाए।
11- विश्व विद्यालय पंतनगर में कार्यरत अन्य कर्मियों की भांति सुरक्षा विभाग में गार्ड के रूप में कार्यरत ठेका मजदूरों को 11 दिनों का सवैतानिक अवकाश दिया जाए।