विश्वविद्यालय के सामुदायिक विज्ञान महाविद्यालय के संसाधन प्रबंधन एवं उपभोक्ता विज्ञान विभाग के अंतर्गत अध्ययनरत पोस्ट डॉक्टर फेलो (पी.डी.एफ.) डा. पूनम एवं पर्यवेक्षक डा. छाया शुक्ला के द्वारा सरस्वती शिशु विद्या मंदिर एवं बाल निलियम जूनियर हाईस्कूल पंतनगर में बाल वाटिका का प्रारंभ किया गया, जिसमें कुल 40 स्कूल के छात्र-छात्राएं, 5 सामुदायिक विज्ञान महाविद्यालय के विद्यार्थी तथा 15 शिक्षकों ने प्रतिभाग किया।
इस बाल वाटिका में 10 प्रकार के औषधी पौधे मुख्यतः श्यामा तुलसी, लौंग तुलसी, भृंगराज, एलोवेरा, सर्पगंधा, कपूर, गिलोय, अपराजिता, अश्वगंधा, इलायची ग्रास यथा औषधी पौधे विद्यार्थियों द्वारा रोपण कर, पौधों की उपयोगिता, उनकी देख-रेख एवं औषधी गुणों के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई। इस मौके पर उपस्थित सरस्वती शिशु मंदिर के प्रधानाचार्य ने बाल वाटिका का शुभारंभ करते हुए कहा कि पेड़-पौधे हमारे जीवन का अभिन्न अंग है, पृथ्वी को बचाना है तो अधिकाधिक पौधे लगाए, हम पृथ्वी को सुरक्षित रखेंगे तभी हमारा जीवन भी सुरक्षित होगा।
इस उपलक्ष्य में संसाधन प्रबंधन की सह प्राध्यापक डा. छाया शुक्ला ने बाल वाटिका के प्राथमिक उद्देश्यों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि पृथ्वी ही एक ऐसी जगह है जहां पूरे ब्रह्मांड में जीवन संभव है और पृथ्वी पर जीवन जारी रखने के लिए हमें पर्यावरण की मौलिक जिम्मेदारियां को बनाए रखने की जरूरत है, पर्यावरण संरक्षण के महत्व को बताते हुए विद्यार्थियों को जागरूक किया तथा विद्यालय परिसर के वातावरण को प्रदूषण मुक्त तथा हरा-भरा बनाए रखने का प्रण लिया।
इस अवसर पर सामुदायिक महाविद्यालय के संसाधन प्रबंधन एवं उपभोक्ता विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष डा. अदिति वत्स, विभागाध्यक्ष डा. सीमा क्वात्रा, सहायक प्राध्यापक डा. संध्या रानी एवं मुस्कान, किरण, नीतू, रक्षित, शबनम, राधिका, अमित, समर, पिंकी, अनुष्का आदि छात्र-छात्राएं उपस्थित थे। सभी छात्र-छात्राएं एवं शिक्षकों ने ‘पेड़ लगाओ, जीवन बचाओ’ का संकल्प लिया। समस्त कार्यक्रम डा. तुलसी प्रसाद, डा. मंजू कंचन आदि के मार्गदर्शन एवं सहयोग से सफलतापूर्वक संपन्न हुए।